*_जय श्री राम जय हनुमान_*
राम नाम जप करने वाले।
संकट सबके हरने वाले।।1।।
अतुलित बलशाली हनुमंता।
अद्भुत रूप दिखाया संता।।2।।
हीय में श्रीराम का वासा।
करते सदा निशाचर नाशा।।3।।
सीता माँ का पता लगाया।
क्षण में लंका नगर जराया।।4।।
पवनपुत्र की कथा निराली।
सूरत सुन्दर भोली भाली।।5।।
करनी कथनी एक समाना।
ईश्वर श्रीराम को माना।।6।।
काम क्रोध मद माया छोड़ो।
हनुमान से नाता जोड़ो'।।7।।
आप हो हनुमत अंतर्यामी।
*भारत* पड़ा शरण में स्वामी।।8।।
- नीतेन्द्र सिंह परमार "भारत"
छतरपुर ( मध्यप्रदेश )
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