जय माँ शारदे
*◆रमेश छंद◆*
विधान~ [नगण यगण नगण जगण]
( 111 122 111 121 )
12 वर्ण, 4 चरण
[दो-दो चरण समतुकांत]
तरसत नैना अब प्रिय श्याम।
रुचत न मोहे घर कुछ काम।।
चितवत बांका अनुपम रूप।
नमन करूँ सेवहुँ सुरभूप।।
~शैलेन्द्र खरे"सोम"
आप सभी के लिए एक नये रूप में। साहित्यिक सांस्कृतिक सामाजिक जानकारी। प्रदेश अध्यक्ष नीतेन्द्र सिंह परमार " भारत " विश्व जनचेतना ट्रस्ट भारत छतरपुर ( मध्यप्रदेश )
विश्व जनचेतना ट्रस्ट भारत मध्यप्रदेश इकाई द्वारा बुंदेली काव्य गोष्ठी का किया गया आयोजन। आज दिनांक 6 जुलाई 2025 दिन रविवार को गायत्री शक्तिप...
No comments:
Post a Comment